CCN/कॉर्नसिटी

इतिहास में भी भारत के लोग शारीरिक विकास के लिए तलवारबाजी, मल युद्ध, कुश्ती, तैराकी ,भाला फेंक, रथ दौड़ का प्रशिक्षण लेते थे। इसके अलावा अन्य वर्ग में भी नौका दौड़ और बैल गाड़ियों का दौड़ जैसा खेल होता था| हड़प्पा और मोहनजोदड़ो में इन सब का अवशेष ज्ञात होता है।

युद्ध कलाओं का विकास सबसे पहले भारत में किया गया था बाद में यह बौद्ध धर्म के प्रचार को द्वारा पूरे एशिया में फैलाया गया।
आइए जानते हैं उन खेलों के बारे में जिस का जन्मदाता भारत है।
1.सांप-सीढ़ी– बच्चों में काफी प्रचलित यह खेल अब तो मोबाइल के द्वारा भी खेला जाने लगा है। लेकिन यह बात बहुत कम लोग जानते हैं कि इसका आविष्कार भारत में हुआ इस खेल को सरिकाओं या कौड़ियों की सहायता से खेला जाता था। सांप-सीढ़ी के खेल का वर्तमान स्वरूप 13वीं शताब्दी में कवि संत ज्ञानदेव द्वारा तैयार किया गया था। धीरे-धीरे इस खेल में कई बदलाव किए गए बाद में इसे अन्य देशों में लूडो या स्नेक्स एंड लैडर्स नाम से जाना गया।

2. कबड्डी– कबड्डी को भारत का देसी खेल कहा जाता है इस खेल को दक्षिण भारत में चेडुगुडु और पूरब में हु तू तू के नाम से जाना जाता है। भारत में इस खेल का उद्भव हुआ था| यह खेल लोगों से घिरने पर कैसे आत्मरक्षा करना है, तथा शिकार के गुणों को सिखाता था। द्वापर युग में भी भगवान कृष्ण और उनके साथ ही द्वारा कबड्डी खेली जाती थी। इस बात का उल्लेख ताम्रपत्र में मिलता है।

3. खो-खो – खो-खो मैदानी खेलों के सबसे पुराने रूपों में से एक है। इस खेल का मुख्य उद्देश्य भी आत्मरक्षा आक्रमण के कौशल को विकसित करना था।

4. तीरंदाजी – वर्तमान समय में भले ही भारत तीरंदाजी में उत्कृष्ट प्रदर्शन न कर पा रहा हो लेकिन इस बात के असंख्य प्रमाण है कि पहली बार तीरंदाजी का शुरुआत भारत में हुआ था। भारत में धनुर्वेद नाम से प्राचीन में वेद भी हुआ करता था। जिसमें इसके सभी कलाओं के बारे में विस्तार से बताया जाता था।

5. कुश्ती – आज भी विश्व में सबसे ज्यादा दर्शकों द्वारा प्यार कुश्ती को ही दिया जाता है। डब्ल्यूडब्ल्यूई, एनएक्सटी कुश्ती का ही विस्तृत रूप है। कुश्ती एक बहुत ही पुराना खेल है जो पहले मनोरंजन के साधन के रूप में खेला जाता था। जिस के कई फायदे थे जैसे कि शारीरिक और मानसिक विकास। भारत के शैववंथी संत प्राचीन काल से ही इस खेल को खेलते आए हैं| जिसके कारण उनका शरीर बलशाली होता था।

By CCN

D.R.DONGRE CCN registered on 09/06/2021 as print media: print weekly, CCN registered on 18/07/2021 as electronic media ; provides daily updates. CCN registration number: MPHIN/2021/79861. The director of ccn is Mr. D.R.DONGRE and editor in chief Mr. AJAY SHINGH.