जिले के 180 छात्रावास-आश्रमों के लिए जनजातीय विभाग में नहीं आई स्पष्ट सरकारी गाइड लाइन
छिंदवाड़ा.नवमीं से बारहवीं कक्षा के संचालन के लिए एक और दो दिन तय जरूर कर दिए गए हैं लेकिन छात्रावास-आश्रमों के खोलने के समय पर असमंजस बना हुआ है। इससे आदिवासी इलाकों के ग्रामीण छात्र-छात्राओं का भविष्य दांव पर है। जनजातीय विभाग के अधिकारी भी स्पष्ट रूप से कुछ कह नहीं पा रहे हैं। उन्हें भी छात्रावासों की तारीख के लिए वरिष्ठ कार्यालय के आदेश का इंतजार हैं।
जिले भर में 180 छात्रावास=कन्या आश्रम हैं। जिसमें 11 हजार छात्र-छात्राओं की आवासीय और शैक्षणिक व्यवस्था है। पिछले दो साल से कोरोना संक्रमण के चलते ये छात्रावास बंद पड़े हैं। हाल ही में कक्षा नवमीं से लेकर बारहवीं कक्षा के संचालन के लिए एक-दो दिन तय हुए। इसके साथ ही जनजातीय विभाग में ये आदेश आया कि छात्रावास क ा संचालन शुरू किया जाना है। इस पर मैदानी छात्रावास अधीक्षक कोई निर्णय नहीं ले पा रहे हैं। उनके पास आदिवासी बच्चे भी आकर पूछ रहे हैं कि जब नवमीं से बारहवीं कक्षा के दिन तय हुए तो फिर उनके छात्रावास कब खुल रहे हैं। इसका अधीक्षकों के पास कोई जवाब नहीं है। वे भी जिला मुख्यालय के आदेश का इंतजार कर रहे हैं।